केंद्र ने वित्त वर्ष 2023-24 के लिए ग्रामीण रोजगार गारंटी कार्यक्रम के तहत मजदूरी दरों में वृद्धि को अधिसूचित किया है। इसके तहत हरियाणा में सबसे अधिक मजदूरी 357 रुपये प्रति दिन और मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ में सबसे कम 221 रुपये है।
प्रतिशत के लिहाज से, गोवा और कर्नाटक ने सबसे कम वृद्धि प्राप्त की है, जिसमें मात्र दो प्रतिशत की वृद्धि हुई है।
1 अप्रैल से मजदूरी में मौजूदा मजदूरी दर की तुलना में 10.39 प्रतिशत की वृद्धि के साथ राजस्थान को अधिकतम लाभ प्राप्त हुआ है।
राजस्थान में मजदूरी की दर 2023-24 के लिए बढ़कर 255 रुपये प्रति दिन हो गई, जो 2022-23 में 231 रुपये थी। बिहार और झारखंड में 8.57 फीसदी की वृद्धि दर्ज की गई है।
गोवा को सबसे कम 2.22 प्रतिशत की बढ़ोतरी मिली है, जो 2022-23 में 315 रुपये से बढ़कर 2023-24 के लिए 322 रुपये प्रति दिन हो गई है।
राज्यों के लिए मजदूरी में वृद्धि दो से 10 प्रतिशत के बीच है। सबसे कम प्रतिशत वृद्धि दर्ज करने वाले राज्यों में कर्नाटक, गोवा, मेघालय और मणिपुर शामिल हैं।
महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना एक प्रमुख कार्यक्रम है जिसका उद्देश्य ग्रामीण क्षेत्रों में परिवारों की आजीविका सुरक्षा को बढ़ाने के लिए एक वित्तीय वर्ष में कम से कम 100 दिनों रोजगार की गारंटी दी जाती है।
संशोधित मजदूरी को महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी अधिनियम (मनरेगा), 2005 की धारा 6 (1) के तहत अधिसूचित किया गया था, जो कहता है कि केंद्र, अधिसूचना द्वारा, अपने लाभार्थियों के लिए मजदूरी दर निर्दिष्ट कर सकता है।